UP में शुरू हुआ SIR अभियान – मतदाता सूची में जोड़ने-सुधारने का मौका
चुनाव आयोग ने आज से उत्तर प्रदेश में Special Intensive Revision (SIR) प्रक्रिया शुरू की, अब मतदाता अपने नाम जोड़, सुधार और हटवा सकेंगे
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में आज से चुनाव आयोग (ECI) ने स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) प्रक्रिया की शुरुआत कर दी है। इस अभियान का उद्देश्य मतदाता सूची को अपडेट करना, नए मतदाताओं को जोड़ना और पुरानी त्रुटियों को सुधारना है। इस प्रक्रिया के तहत बीएलओ घर-घर जाकर फॉर्म वितरित करेंगे और हर बूथ पर मतदाताओं की सूची को नए सिरे से तैयार किया जाएगा।
क्या है SIR प्रक्रिया?
SIR यानी Special Intensive Revision एक वार्षिक विशेष अभियान है जिसमें निर्वाचन आयोग मतदाता सूची को दुरुस्त करता है। इसमें तीन मुख्य कार्य किए जाते हैं –1. नए मतदाताओं का नाम जोड़ना, 2. मृतक या स्थानांतरित लोगों के नाम हटाना, 3. पहले से दर्ज नाम, पता या फोटो की त्रुटियों का सुधार करना। यह प्रक्रिया हर विधानसभा क्षेत्र में एक समान रूप से लागू होती है और इसका उद्देश्य है कि हर पात्र नागरिक का नाम सूची में हो और कोई अपात्र नाम शामिल न रहे।
प्रक्रिया का टाइमलाइन (उत्तर प्रदेश के लिए) चरण तिथि विवरण इस प्रकार है, प्रारंभिक तैयारी 28 अक्टूबर – 3 नवंबर 2025 फॉर्म और ट्रेनिंग का चरण, घर-घर सत्यापन व फॉर्म वितरण 4 नवंबर – 4 दिसंबर 2025 BLO मतदाताओं से संपर्क करेंगे, ड्राफ्ट मतदाता सूची जारी 9 दिसंबर 2025 संशोधित सूची का प्रकाशन
दावा-आपत्ति की अंतिम तिथि 9 दिसंबर के बाद सुधार या नामांकन हेतु आवेदन किया जायेगा।
मतदाता को क्या करना है?
यदि आप 18 वर्ष के हो चुके हैं, तो नया नाम दर्ज करवाएं। यदि आपका नाम सूची में नहीं है या गलत है, तो फॉर्म-6 (नाम जोड़ने), फॉर्म-8 (सुधार के लिए) भरें। यदि आप स्थानांतरित हो चुके हैं, तो पुराने क्षेत्र से नाम हटवाकर नए पते पर जोड़ें। BLO आपके घर आएंगे या आप www.nvsp.in पोर्टल पर ऑनलाइन भी आवेदन कर सकते हैं।
इसके लिए जरूरी दस्तावेज
SIR प्रक्रिया में आवेदन के लिए निम्न दस्तावेज आवश्यक हैं – आयु और पहचान प्रमाण (आधार कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, पासपोर्ट या जन्म प्रमाणपत्र), निवास प्रमाण (बिजली बिल, राशन कार्ड, किरायानामा आदि), यदि सुधार करा रहे हैं तो पुराना EPIC कार्ड (वोटर आईडी)
बीएलओ घर-घर पहुंचेंगे
राज्य चुनाव कार्यालय के निर्देशानुसार हर बूथ लेवल ऑफिसर (BLO) घर-घर जाकर फॉर्म वितरित करेंगे। मतदाता को इन फॉर्मों को भरकर निर्धारित समय में वापस देना होगा। आयोग ने निर्देश दिया है कि किसी भी मतदान केंद्र पर 1200 से अधिक मतदाता नहीं होंगे ताकि वोटिंग के दिन लंबी कतारें न लगें।
क्यों जरूरी है यह प्रक्रिया?
मृतक या डुप्लिकेट मतदाताओं के नाम हटाने के लिए, नए 18 वर्ष के युवाओं को शामिल करने के लिए, सूची की सटीकता और पारदर्शिता बढ़ाने के लिए, लोकतांत्रिक प्रक्रिया को मजबूत बनाने के लिए। चुनाव आयोग ने अपील की है कि हर नागरिक इस अभियान में सक्रिय रूप से भाग ले ताकि कोई भी मतदाता मतदान अधिकार से वंचित न रह जाए।