जल, जंगल और जमीन को बचाने के लिए निकल पड़ा युवक
कुछ ऐसी आज भी लोग हैं जो समाज के लिए एक प्रेरणादायक कहानी के रूप में सबके सामने आते हैं।;
उमरिया। पर्यावरण को बचाने की ऐसी सेना की एक व्यक्ति पूरे मध्यप्रदेश का भ्रमण कर लोगों को जगाने के लिए अपने घर से निकल पड़ा। जंगल हमारे लिए क्यों महत्वपूर्ण है किसलिए यह हमारे आसपास रहने चाहिए इसके बारे में लोगों को पता तो है लेकिन वह सिर्फ किताबी बातें जानते हैं लेकिन कुछ ऐसी आज भी लोग हैं जो समाज के लिए एक प्रेरणादायक कहानी के रूप में सबके सामने आते हैं।
लोगों को जगाने के लिए और पर्यावरण को बचाने के लिए एक युवक अपनी साइकिल को निकाला और बस यात्रा में निकल पड़ा,जल-जंगल-जमीन बचाने का उद्देश्य लेकर लोगों में चेतना जागृत करने सिवनी जिले के 25 वर्षीय रोहित सिरसाम सायकिल से मध्य प्रदेश के भृमण में निकले हैं। उनकी यात्रा के दौरान वे पर्यावरण की सुरक्षा को लेकर चेतना जगाने के लिए निकले रोहित उमरिया पहुंचे।
उन्होंने अपने बातचीत के दौरान बताया कि मेरा नाम रोहित सिरसाम है उनकी अब तक पांच हजार किलोमीटर की सायकिल यात्रा (Cyclic Journey) पूरी हो चुकी है। इसमें मध्य प्रदेश के 49 जिले (District) की यात्रा पूरी हुई है। कुछ ही दिनों में अन्य शेष तीन जिले पूरे कर यात्रा का समापन (End of the Journey) सिवनी के पेंच से करेंगे।
कहां से शुरू हुई उनकी यात्रा?
एक ऐसा व्यक्ति जिसे आज तक कोई नहीं जानता था लेकिन अब उसे पूरा मध्य प्रदेश जानता है क्योंकि वह एक ऐसा व्यक्ति है जो मध्य प्रदेश को जगाने की मुहिम छेड़ कर अपने घर से निकला है। वही रोहित सिरसाम जो कि मूलतः मध्य प्रदेश के सिवनी जिले के हैं। इन्होंने बताया कि वे अपने गृह जिले सिवनी के पेंच से जल, जंगल और जमीन बचाने को लेकर यात्रा की शुरुआत किये हैं।
उन्होंने बताया है कि अब तक यात्रा के 60 दिन पूरे कर वे कुछ दिनों में इस यात्रा का समापन पेंच से ही करेंगे। समापन के साथ ही उनके 52 जिलों की यात्रा पूरी होकर प्रदेश भृमण समाप्त हो जाएगा। लिहाज़ा रोहित ने बताया कि उनके द्वारा अभी तक 49 जिले और तक़रीबन 5 हजार कि.मी. से ज़्यादा दूरी का सफर सायकिल से तय किया जा चुका है। यही नहीं सबसे मजेदार की बात तो यह है कि इन सब में उनके लिए वन विभाग भी मददगार साबित हो रहा है। वन विभाग द्वारा ठहरने और कैम्पेन करने में कई जगह मदद की गई।
सायकिल से यात्रा की वजह
जब उनसे पूछा गया कि उन्होंने यात्रा के लिए साइकिल ही क्यों चुना तो उन्होंने बताया की पर्यावरण की चिंता लेकर सायकिल से मध्य प्रदेश भृमण पर निकले रोहित सिरसाम उमरिया जिला पहुंचे जहां उन्होंने बताया उनकी यात्रा जल, जंगल और जमीन बचाने को लेकर हर व्यक्ति और समाज में जागरूकता लाना है। प्रकृति संवारने और प्रदेश के खुशहाली के लिए जंगल और बाघ बचाने का संदेश लेकर सायकिल से भृमण पर निकले हैं। उनका कहना है कि यदि अभी से पर्यावरण के प्रति कोई ठोस कार्य नहीं किया गया तो आने वाला समय कठिनाइयों से बढ़ता चला जायेगा। प्रकृति के लिए एक पेड़ लगाना आज के समय की मांग हैं।
कैम्पेन लगाकर देते हैं सीख
यही नहीं उन्होंने बताया कि इस यात्रा के दौरान वे इसी बीच एक छोटा सा कैम्पेन लगाकर भी लोगों को जल, जंगल और जमीन मुद्दे पर चर्चा करते हुए जागरूक करने का कार्य कर रहे हैं। साथ ही एक पेड़ लगाने का आग्रह भी। प्रदेश और पर्यावरण की खुशहाली का बीड़ा उठाकर सायकिल से लोगों को सन्देश देने वाले इस 25 वर्षीय युवक का कहना है, कि यदि प्राकृति की रक्षा नहीं की गई, तो आने वाला जीवन और भी संघर्षसील और कठिनाई से भरा होगा।
रिपोर्ट–चंदन श्रीवास