एमपी हनीट्रैप केस : रिटायरमेंट से पहले SIT चीफ ने HC को सौंपे कई नेताओं और अधिकारियों के नाम

तत्कालीन मुख्यमंत्री कमलनाथ की नाराजगी के बाद 24 घंटे में ही वर्मा को हटाकर एसआईटी चीफ की कमान एडीजी संजीव शमी को सौंपी गई थीं।

Update: 2020-08-10 15:53 GMT

भोपाल मध्य प्रदेश के बहुचर्चित हनीट्रैप मामले की जांच कर रहे वर्तमान एसआईटी चीफ राजेंद्र कुमार 31 अगस्त को रिटायर हो रहे हैं. मामले में चार दिन पहले ही उन्होंने हाईकोर्ट को कई नामों का लिस्ट सौंपा है, जिसमें आरोपियों के करीबी अफसरों के अलावा पूर्व मंत्री सहित कई रसूखदारों के नाम शामिल हैं।

राजेंद्र कुमार के बाद एसआईटी का अगला चीफ कौन होगा. इसको लेकर अभी तक अंतिम फैसला नहीं लिया गया है. लेकिन ऐसा माना जा रहा है कि एसआईटी के स्पेशल डीजी अरुणा मोहन राव और टीम के सदस्य एडीजी मिलिंद कानस्कर में से किसी एक को अगला चीफ बनाया जा सकता है. फिलहाल इस पर अंतिम फैसला हाईकोर्ट के आदेश पर ही लिया जाएगा।

प्रदेश के बहुचर्चित हनी ट्रैप मामले की जांच के लिए पुलिस मुख्यालय ने सबसे पहले एसआईटी चीफ आईजी डी. श्रीनिवास वर्मा को बनाया था. लेकिन तत्कालीन मुख्यमंत्री कमलनाथ की नाराजगी के बाद 24 घंटे में ही वर्मा को हटाकर एसआईटी चीफ की कमान एडीजी संजीव शमी को सौंपी गई थीं।

जब शमी ने इस मामले की तह तक जाने की कोशिश की तो तत्कालीन शीर्ष अफसरों ने संजीव शमी को हटाकर तीन सदस्यीय एसआईटी का गठन करवा दिया था, जिसके बाद एसआईटी चीफ की कमान स्पेशल डीजी सायबर राजेंद्र कुमार को सौंपी गई थी।

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