विपक्ष की नजर में बजट निराशाजनक- भाजपा के सहयोगी दलों ने की सराहना

बेवकूफ बनाने के लिए झुनझुना थमाते रहिए और मोदी जी की बड़ाई सुनते रहिए यही है इस बजट में

Update: 2024-02-01 15:24 GMT

लखनऊ। लोकसभा चुनाव से पहले केंद्र सरकार द्वारा गुरुवार को पेश अंतरिम बजट प्रस्तावों को उत्तर प्रदेश के विपक्षी दलों ने निराशाजनक करार दिया है वहीं भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सहयोगी दलों ने बजट की सराहना करते हुये इसे विकास के लिये उपयोगी बताया है।

सूबे में मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने एक्स पर पोस्ट किया “ कोई भी बजट अगर विकास के लिए नहीं है और कोई भी विकास अगर जनता के लिए नहीं है तो वो व्यर्थ है। भाजपा सरकार ने जनविरोधी बजटों का एक दशक पूरा करके एक शर्मनाक रिकार्ड बनाया है, जो फिर कभी नहीं टूटेगा क्योंकि अब सकारात्मक सरकार आने का समय हो गया है। ये भाजपा का ‘विदाई बजट’ है।

बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती ने कहा “ केन्द्र सरकार द्वारा लोकसभा चुनाव से पूर्व, संसद में आज पेश बजट जमीनी वास्तविकता से दूर चुनावी लुभावने वाला ज़्यादा । इस प्रकार, देश की जनता की अपार गरीबी, बेरोजगारी व बढ़ती हुई मंहगाई आदि से त्रस्त जीवन को नकारना अति-दुःखद व चिंतनीय। इसके साथ ही, देश की अर्थव्यवस्था व विकास संबंधी सरकारी दावों व वादों में जमीनी सच्चाई होती तो फिर यहाँ के 80 करोड से अधिक लोगों को फ़्री में राशन का मोहताज जीवन जीने को मजबूर नहीं होना पड़ता।”

कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय राय ने कहा “ बजट में व्यापारियों, किसानों, महिलाओं, नौजवानों और आम जनता को कोई सुविधा नहीं दी गई है। आम जनता को सिर्फ झुनझुना थमाया गया है, बेवकूफ बनाने के लिए झुनझुना थमाते रहिए और मोदी जी की बड़ाई सुनते रहिए यही है इस बजट में।”

राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय प्रवक्ता अनिल दुबे ने केंद्रीय बजट को निराशाजनक बताते हुए कहा कि इस बजट में किसानों, मध्यम वर्ग, गरीबों तथा मजदूरों के लिए कुछ नहीं है सिर्फ जुमले ही है इस बजट से आम जनमानस को मात्र निराशा ही हाथ लगी है। अगर इस बजट में किसी को कुछ मिला है तो वह देश के उद्योगपतियों के हित में हैं और गरीबों, मध्यवर्गीय तथा किसानों के लिए बिल्कुल शून्य है।

उधर सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुभासपा) अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर ने बजट की तारीफ करते हुये कहा “ केंद्र सरकार द्वारा पेश किया गया अंतरिम बजट देश की तरक्की के लिए स्वागत योग्य है। बजट में उच्च शिक्षा के लिए लोन की राशि बढ़ाई गई है, जिससे युवाओं को उच्च शिक्षा प्राप्त करने में सहूलियत होगी। गाँव-गरीब के विकास, महिला सशक्तिकरण, किसानों की आय में वृद्धि को चरितार्थ करने वाला बजट है। यह बजट देश के युवा, गरीब, महिला और किसान सभी को सशक्त करेगा। मनरेगा के बजट में वृद्धि से ग्रामीण क्षेत्रों में भी रोजगार के अवसर बढ़ेंगे।”

अपना दल (एस) अध्यक्ष एवं केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल ने कहा कि अंतरिम बजट ‘आत्मनिर्भर भारत’ की परिकल्पना को आगे ले जाने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करेगा। इस बजट के जरिए 2047 तक भारत को सशक्त राष्ट्र बनाने का मार्ग प्रशस्त होगा। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा प्रस्तुत आम बजट वंचितों, पिछड़ों, गरीबों व किसानों के प्रति समर्पित है। टैक्स स्लैब में कोई बदलाव न कर सरकार ने मध्यम वर्गीय लोगों को बड़ी राहत दी है। आयकर में सात लाख तक की आय की छूट का लाभ मध्यम वर्गीय लोगों को मिलेगा।

ऑल इण्डिया पॉवर इंजीनियर्स फेडरेशन ने केन्द्र सरकार के अंतरिम बजट को कर्मचारियों के लिए बेहद निराशाजनक बताया। फेडरेशन के चेयरमैन शैलेन्द्र दुबे ने आज यहां जारी बयान में कहा कि बढ़ती मंहगाई को देखते हुए डायरेक्ट टैक्स की दरों में कोई बदलाव न किए जाने से नौकरीपेशा लोगों को भारी निराशा हुई है। 80 सी और स्टैंडर्ड कटौती की सीमा में भी कोई वृद्धि नहीं की गई है जिसकी उम्मीद थी। सबसे अधिक निराशा इस बात से हुई है कि केन्द्रीय वित्त मंत्री ने पुरानी पेंशन बहाली को लेकर कुछ भी नहीं कहा है। ऐसा लगता है कि कर्मचारी वर्ग अब सरकार की प्राथमिकता में है ही नहीं।

वार्ता

Tags:    

Similar News