भारत बंद की आड़ में आमजन के जीवन और स्वास्थ्य से खिलवाड़: योगी

भारत बंद की आड़ में आमजन के जीवन और स्वास्थ्य से खिलवाड़: योगी

लखनऊ। विपक्षी दलों पर किसानो को भ्रमित कर माहौल खराब करने का आरोप लगाते हुये उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 'भारत बंद' की आड़ में आमजन के जीवन और स्वास्थ्य से खिलवाड़ का प्रयास कतई स्वीकार्य नहीं होगा।

योगी ने सोमवार को कहा कि केंद्र सरकार ने किसानों के हित में कृषि संबंधी सुधारों से जुड़े महत्वपूर्ण विधेयकों के माध्यम से पिछले छह वर्षों में अनेक क्रांतिकारी कदम उठाए हैं मगर देश के कुछ राजनीतिक दल भोले-भाले किसानों को भ्रमित कर वातावरण खराब करने का प्रयास कर रहे हैं।

उन्होने कहा कि यूपीए सरकार में कांग्रेस एवं उसके सहयोगी दलों ने किसानों को हमेशा हथियार बनाया लेकिन किसान हित में कोई भी कदम उठाने में सदैव संकोच करते रहे। यह उनके दोहरे चरित्र को दर्शाता है। यह दल आज भी भोले-भाले किसानों के कंधों पर बंदूक रख कर देश में अराजकता फैलाने का प्रयास कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि मूल्यों और आदर्शों के बगैर राजनीति कभी जन विश्वास का प्रतीक नहीं बन सकती है। वह सभी राजनीतिक दल, जिन्होंने कृषि संबंधी सुधार के इस महत्वपूर्ण कदम का सत्ता में रहते हुए समर्थन किया था, अपने इलेक्शन मेनिफेस्टो का हिस्सा बनाया था, आज उसका विरोध कर जन विश्वास पर कुठाराघात कर रहे हैं।

योगी ने कहा कि सपा संस्थापक मुलायम सिंह ने 2019 में कृषि से संबंधित स्टैंडिंग कमेटी में एपीएमसी मॉडल एक्ट में संशोधन को 'किसान हितैषी' बताते हुए उसका समर्थन किया था। फिर आज यह राजनीतिक दल भारत बंद का समर्थन किस मुंह से कर रहे हैं, इसका जवाब इन्हें देश की जनता को देना होगा। योगी ने कहा कि आज भारत बंद का समर्थन कर अराजकता फैलाने वाले कांग्रेस समेत अनेक दल यह बताएं कि वर्ष 2010-11 के दौरान जिस यूपीए सरकार ने एपीएमसी एक्ट में व्यापक संशोधन की वकालत की थी और राज्यों के मुख्यमंत्रियों को इससे संबंधित पत्र लिखे थे, आखिर उस समय उन्होंने यूपीए सरकार का समर्थन क्यों किया था।

उन्होने कहा कि जब देश कोरोना के खिलाफ महत्वपूर्ण लड़ाई को पूरी मजबूती के साथ लड़ रहा है। उस समय विपक्ष द्वारा भोले-भाले किसानों को गुमराह कर कोरोना विरुद्ध समर को कमजोर करने का कुत्सित प्रयास किया जा रहा है। आमजन के जीवन और स्वास्थ्य से खिलवाड़ का यह प्रयास कतई स्वीकार्य नहीं होगा।

epmty
epmty
Top