समाज में गरीबी है, लेकिन लोगों को मन से गरीब नहीं होना चाहिएः राज्यपाल

समाज में गरीबी है, लेकिन लोगों को मन से गरीब नहीं होना चाहिएः राज्यपाल

लखनऊ। उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने आज राजभवन से राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) के 39वें स्थापना दिवस के अवसर पर 875.91 लाख रुपये की लागत से शुरू की गई विभिन्न योजनाओं का ऑनलाइन शुभारम्भ किया, जिसमें को-आपरेटिव बैंक के एटीएम मोबाइल वैन, पीओएस मशीन, वाटरशेड, प्रवासियों के लिये स्किल डेवलपमेन्ट कार्यक्रम, रूरल हाट और रूरल मार्ट आदि शामिल हैं। इसके साथ ही उन्होंने एक बुकलेट 'नाबार्ड इन उत्तर प्रदेश' का ऑनलाइन विमोचन भी किया।

इस अवसर पर राज्यपाल ने कहा कि नाबार्ड ने 38 वर्षों के सफर में अपनी जिम्मेदारियों को सुचारू रूप से निभाते हुए केन्द्र एवं राज्य सरकार के सहयोग से अनेक नवोन्मेषी नीतिगत पहले की हैं। उन्होंने कहा कि देश के कृषि और ग्रामीण क्षेत्र के विकास में नाबार्ड अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। उन्होंने किसानों, स्वयं सहायता समूहों, स्वैच्छिक संस्थाओं आदि से अपील की कि वे नाबार्ड के सहयोग से जो भी योजनाएं चलायी जा रही हैं, उसका भरपूर लाभ उठायें। उन्होंने कहा कि समाज में एक पढ़ी-लिखी डाक्टर लड़की से शादी के समय जब दहेज की मांग की जाती है तो यह सोचना पड़ता है कि क्या पढ़ने-लिखने से ही संस्कार आता है तथा क्या हम सही में पढ़े-लिखे लोग हैं। उन्होंने कहा कि समाज में गरीबी है, लेकिन लोगों को मन से गरीब नहीं होना चाहिए।

आनंदीबेन पटेल ने कहा कि नाबार्ड एक जिले को केन्द्रित कर ऐसी योजना तैयार करे, जिससे उस जिले के सिंचाई वाले सभी नलकूप सौर ऊर्जा से संचालित हों। आज हर जिले को इसकी जरूरत है। इससे बिजली की बचत के साथ-साथ उस पर आने वाले खर्च की भी बचत होगी। इसी तरह नाबार्ड जिला विशेष को ध्यान में रखकर मत्स्य पालन के क्षेत्र में भी योजना बनाकर किसानों की मदद कर सकता है। उन्होंने ललितपुर, सोनभद्र, इटावा व झांसी के किसानों की प्रशंसा करते हुए कहा कि जिस तरह यहां के किसानों ने नाबार्ड की योजनाओं का लाभ उठाया और अपनी आय में वृद्धि की, उसी तरह से प्रदेश के सभी किसानों को नाबार्ड द्वारा उनके हित में चलाई जा रही योजनाओं का लाभ उठाना चाहिए।

राज्यपाल ने कहा कि स्वयं सहायता समूह के माध्यम से नाबार्ड को महिलाओं को तरक्की की राह पर आगे बढ़ाने में सहयोग प्रदान करना चाहिए। इसके साथ ही नाबार्ड ग्रामीण क्षेत्र के कुुपोषित एवं टी0बी0 ग्रस्त बच्चों के परिवारों को जागृत करने में भी अपना सहयोग दें। उन्होंने कहा कि केन्द्र एवं राज्य सरकार तथा नाबार्ड द्वारा क्रियान्वित योजनाओं एवं कार्यक्रमों का सही ढंग से उपयोग किया जाए तो हमारे किसान आगे बढ़ेंगे और वे अपनी आय को भी दोगुनी करने में सफल होंगे।

इस अवसर पर नाबार्ड, उत्तर प्रदेश क्षेत्रीय कार्यालय के मुख्य महाप्रबन्धक श्री शंकर ए पांडे, भारतीय रिजर्व बैंक, लखनऊ के क्षेत्रीय निदेशक श्री लक्ष्मीकांत राव, स्वयं सहायता समूह की महिलाएं, आदिवासी समूह के लोग, किसान तथा किसान उत्पादक संगठन से जुड़े लोग आॅनलाइन जुड़े हुए थे।

(हिफी न्यूज)

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