किसानों के स्वाभिमान पर कुठाराघात : डाॅ 0 मसूद अहमद

किसानों के स्वाभिमान पर कुठाराघात  : डाॅ 0 मसूद अहमद

लखनऊ 18 सितम्बर। राष्ट्रीय लोकदल के प्रदेष अध्यक्ष डाॅ 0 मसूद अहमद ने प्रदेश सरकार के 6 माह के कार्यकाल पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुये कहा कि काफी इन्तजार के बाद योगी सरकार की प्रथम कैबिनेट बैठक में लघु और सीमान्त किसानों का मार्च 2016 तक का फसली ऋण माफ करने की घोषणा का सच 5 महीने बाद सामने आया जिसमें किसानों को 9 पैसे, 84 पैसे लेकर 15, 28, 56, 150 और 280 रूपये आदि के हजारों प्रमाण पत्र बांटकर किसानों के जख्मों पर नमक छिड़कने ने का काम किया गया है जिसे किसानों के स्वाभिमान पर कुठाराघात की संज्ञा देना गलत न होगा इसी प्रकार 15 जून तक गड्ढामुक्त सड़कों की घोषणा भी खोखली साबित हुयी। दूर दराज क्षेत्रों मे न जाकर केवल राजधानी की सड़कों का सर्वे करके सच्चाई देखी जा सकती है।
डाॅ 0 अहमद ने कहा कि सरकार ने हिन्दूवादी विचारधारा के पूर्वाग्रह से ग्रस्त होकर बूचड़खानों पर प्रतिबंध की घोषणा की जिसके परिणामस्वरूप हजारों लोग भुमखरी के कगार पर पहुच गये परन्तु सच्चाई यह है कि आज भी सड़कों के किनारे खुड़ी हुयी अवैध दुकाने बीमारियां बांट रही हैं। हां प्रदेष में गौरक्षा के नाम पर हिंसक घटनाएं खूब हुयी जिससे समाज में असंतोष का वातावरण बना। स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही के फलस्वरूप हजारों बच्चों की मृत्यु होना सरकार पर बदनुमा दाग है जिसे धोना सरकार के बस में नहीं है।
रालोद प्रदेष अध्यक्ष ने कहा कि सरकार का यह कहना कि 6 माह में कोई दंगा नहीं हुआ स्वयं में हास्यापद है क्योंकि रायबरेली के जातीय संघर्ष हुआ और इसी प्रकार दलितों और क्षत्रियों के बीच जातीय उन्माद भड़काया गया। मुजफ्फरनगर में भी दंगा भड़काया गया परन्तु पष्चिम उत्तर प्रदेष की जनता ने सरकार के मंसूबों पर पानी फेरकर आपसी भाईचारा बनाये रखा। अन्त में यह कहा जा सकता है कि 6 महीने में कई बार मंत्रियों और अधिकारियों ने हाथों में झाडू़ लेकर फोटो खिचाने में सफलता पायी भले ही झाडू की कीमत बढ गयी। वास्तविकता यह है कि नगर निगमों, नगर पालिका तथा टाउन एरिया में जब तक सफाई कर्मियों की भर्ती नहीं होगी तब तक स्वच्छता की बात करना बेईमानी होगी।

Next Story
epmty
epmty
Top