मिशन बंगाल - BJP के भरोसेमंद कार्यकर्त्ता बन रहे हैं संजीव बालियान

मिशन बंगाल - BJP के भरोसेमंद कार्यकर्त्ता बन रहे हैं संजीव बालियान

लखनऊ। भारतीय जनता पार्टी को अपने मैनेजमेंट के लिए जाना जाता रहा है। इस मैनजमेंट में अब उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर को अहम भूमिका में रखा गया है। यहां से पार्टी के सांसद और केन्द्र सरकार में पशुपालन, मत्स्य एवं डेयरी विकास राज्यमंत्री डाॅ. संजीव बालियान को भाजपा ने अपने 'मिशन पश्चिमी बंगाल' के लिए चुनी गई स्पेशल टीम-7 का हिस्सा बनाया है। इस टीम में भाजपा ने पूरे देश से 7 जुझारू और चुनाव मैनेजमेंट तथा आक्रामक प्रचार में माहिर नेताओं का चयन किया है। इसमें संजीव बालियान को हिस्सा मिलना मुजफ्फरनगर के लिए ऐतिहासिक अवसर के रूप में देखा जा रहा है। यूपी में डिप्टी सीएम कैशव प्रसाद मौर्य के बाद संजीव बालियान ही दूसरे नेता हैं, जो 'मिशन पश्चिम बंगाल के लिए चुने गये हैं। यह पहला अवसर नहीं है जबकि केन्द्रीय मंत्री डाॅ. संजीव बालियान को कठिन अवसरों पर भाजपा के शीर्ष राष्ट्रीय नेतृत्व ने संगठन के मिशन में 'टास्क' देने का काम किया हो, वह हर टारगेट को भेदने वाले रामबाण साबित होते गये और आज पूरी तरह से भाजपा के भरासेमंद कार्यकर्ता बन चुके हैं।


कड़ी चुनौतियों के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के चेहरे और उनकी सरकार की उपलब्धियों के सहारे बिहार चुनाव को फतेह करने के बाद अब भारतीय जनता पार्टी 'दीदी' के राजनीतिक किले को ध्वस्त करने के लिए पूरा प्लान बना चुकी है। राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के नेतृत्व में 'मिशन पश्चिम बंगाल' शुरू कर दिया गया है। इसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के चेहरे और कार्यशैली के साथ ही गृह मंत्री अमित शाह के अनुभव के साथ जेपी नड्डा पश्चिम बंगाल में इस बार भगवा लहर लाने के लिए निकल चुके है। भाजपा ने अपने 'मिशन पश्चिम बंगाल' को फतेह करने के लिए स्पेशल टीम-7 का गठन किया है। इसमें भाजपा ने अपने संगठन और सरकार में काम कर रहे चुनाव मैनेजमेंट में अचूक, आक्रामक प्रचार शैली और जादुई सम्बोधन में माहिर नेताओं का देशभर से चयन किया गया है। इस टीम-7 में यूपी के मुजफ्फरनगर जिले से सांसद और केन्द्र सरकार में राज्यमंत्री पशुपालन, मत्स्य एवं डेयरी विकास विभाग डाॅ. संजीव बालियान को भी चुना गया है। 'मिशन पश्चिम बंगाल' के लिए चुनी गयी इस टीम-7 में डाॅ. संजीव बालियान के अलावा केन्द्रीय जल शक्ति मंत्री और राजस्थान के कद्दावर नेता गजेन्द्र सिंह शेखावत, झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और केन्द्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा, यूपी के डिप्टी सीएम कैशव प्रसाद मौर्य, मध्य प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा, केन्द्रीय मंत्री मनसुख मंडाविया और केन्द्रीय मंत्री प्रहलाद पटेल शामिल हैं। इसमें उत्तर प्रदेश ही ऐसा राज्य है, जहां से दो नेताओं का चयन पश्चिम बंगाल फतेह करने के लिए किया गया है।


डाॅ. संजीव बालियान ने भाजपा में अपने राजनीतिक जीवन की शुरूआत एक आम कार्यकर्ता के रूप में की थी, लेकिन 2014 के लोकसभा में अपने पहले ही चुनाव में जीत के साथ साथ वह लगातार भाजपा के शीर्ष नेतृत्व का भरोसा जीतने में सफल रहे हैं। इस जीत ने डाॅ. संजीव बालियान को भाजपा के जाट लीडर के रूप में स्थापित किया और 2019 के लोकसभा चुनाव में जाट क्षत्रप माने जाने वाले रालोद मुखिया चौ. अजित सिंह को मुजफ्फरनगर सीट के चुनावी अखाड़े में बेहद नजदीकी से पटखनी देने के बाद पार्टी में वह एक राष्ट्रीय लीडरशिप के रूप में देखे जाने लगे। भाजपा का प्रमुख जाट चेहरा होने पर इस जीत ने और भी पक्की मुहर लगा दी। डाॅ. संजीव बालियान को बहुआयामी प्रतिभा वाला एक राजनेता माना जाता है। उन्होंने संगठन और सरकार दोनों में ही रहकर जो काम किया, उसको लेकर आज पार्टी में दो राय नहीं है कि वह भाजपा की राष्ट्रीय टीम का एक मजबूत स्तम्भ बन चुके हैं।


डाॅ. संजीव बालियान एक किसान परिवार से ताल्लुक रखते हैं। उन्होंने धरती से अन्न उगाने के लिए शरीर से निकलने वाले पसीने की कीमत को जीवन में बहुत ही नजदीक से महसूस किया है। खेतों में किये गये इस परिश्रम ने ही उनको छोटे अवसरों को बड़ी सफलताओं में बदलने का हुनर सिखाया है। यही कारण है कि जब जब भी उनको भाजपा की ओर से चुनौतीपूर्ण माहौल में मौका दिया गया, उन्होंने उन साधारण माने जाने वाले दायित्वों में अपनी कार्यशैली का लोहा मनवाते हुए असाधारण उपलब्धियां हासिल की हैं। 2014 के चुनाव में डाॅ. संजीव बालियान को राजनीतिक का नया खिलाड़ी माना जा रहा था, लेकिन यूपी में दूसरे दल की सरकार होने और नरेन्द्र मोदी के चेहरे के बीच हुए इस चुनाव में डाॅ. संजीव बालियान ने बड़ी जीत हासिल की। इसी जीत के कारण पीएम नरेन्द्र मोदी ने डाॅ. संजीव बालियान को अपनी सरकार का हिस्सा बनाया। उन्होंने सरकार में रहकर बेहतरीन कार्यशैली और उपलब्धियों के साथ काम करके दिखाया। मुजफ्फरनगर जनपद के विकास के लिए ऐतिहासिक काम कराये गये। इसके बाद 2019 में सपा, बसपा और कांग्रेस के महागठबंधन में रालोद के मुखिया चौ. अजित सिंह के सामने फिर से पार्टी ने संजीव बालियान पर भरोसा जताया, वह इस भरोसे में खरा साबित हुए और अजित सिंह को पराजित कर इतिहास रचा। पीएम मोदी का विश्वास उन पर कायम रहा और वह आज भी सरकार का हिस्सा हैं। अपने चुनाव के बाद भाजपा ने उनको अमेठी सीट पर हो रहे चुनाव की जिम्मेदारी सौंपी। अमेठी को भाजपा ने प्रतिष्ठा का प्रश्न बना लिया था। यहां कांग्रेस के राहुल गांधी को पराजित करने के लिए स्मृति ईरानी मैदान में थी। इस चुनाव में संजीव बालियान ने 14 दिन अमेठी में रहकर बेहतर मैनेजमेंट और अपनी आक्रामक चुनाव प्रचार शैली से सभी को प्रभावित किया। पीएम मोदी के चेहरे और स्मृति ईरानी के नाम के इस चुनाव में राहुल गांधी की पराजय में डाॅ. संजीव बालियान की भूमिका से इंकार नहीं किया जा सकता है। इस चुनाव में भाजपा ने डाॅ. संजीव बालियान को स्टार प्रचारक बनाया था। उन्होंने अमेठी के साथ ही कई अन्य प्रमुख सीटों पर चुनाव प्रचार किया और भाजपा की जीत में अपना योगदान देने में लगे रहे। इसके बाद हाल ही में बिहार में हुए राज्य विधानसभा के चुनाव में भी भाजपा ने डाॅ. संजीव बालियान को कई प्रमुख और चुनौतीपूर्ण सीटों पर प्रचार के साथ ही मैनेजमेंट की जिम्मेदारी देकर लगाया। सभी जानते हैं कि परिणाम आने से पहले बिहार चुनाव को लेकर एक दूसरा ही माहौल बना हुआ था, लेकिन जब ईवीएम से रूझान आये तो सभी भौचक्क रह गये थे।


प्रतिकूल को अनुकूल वातावरण में बदलने की कला रखने वाले डाॅ. संजीव बालियान अब भाजपा के 'मिशन पश्चिम बंगाल' की स्पेशल टीम-7 का हिस्सा बनाये जाने और पश्चिम बंगाल में जाकर संगठन को सक्रिय व मजबूत बनाने के अभियान को लेकर चर्चाओं में हैं। डाॅ. संजीव बालियान उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जनपद से आज ऐसे अकेले नेता बनने का गौरव भी पा चुके हैं, जो किसी भी राजनीतिक दल के राष्ट्रीय अभियानों की मुख्य कड़ी रहे। यह पहला अवसर है जबकि भाजपा की राष्ट्रीय टीम के स्तर पर मुजफ्फरनगर मुख्य भूमिका में नजर आ रहा है और पार्टी की केन्द्रीय टीम में डाॅ. संजीव बालियान लगातार भरोसेमंद बन रहे हैं। पश्चिम बंगाल का राजनीतिक मिशन मिलने पर केन्द्रीय मंत्री डाॅ. संजीव बालियान शीर्ष नेतृत्व और पीएम मोदी व गृह मंत्री अमित शाह का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि केन्द्रीय नेतृत्व ने जो भरोसा मुझ पर जताया है, उस पर खरा उतरने का प्रयास करूंगा। केन्द्रीय नेतृत्व का लगातार भरोसा बढ़ने पर मंत्री संजीव बालियान ने कहा कि हर चुनाव में मेहनत करने का मेरा स्वभाव रहा है। जहां भी जो भी पार्टी जिम्मेदारी देगी, वहां पर हम जनहितों और देशहित को सर्वोपरि रखते हुए जीत और केवल जीत के लिए कठिन परिश्रम करते रहेंगे।


8 साल-कुटबा से निकलकर राष्ट्रीय फलक पर चमके संजीव बालियान

केन्द्र सरकार में लगातार दूसरी बार मंत्री पद हासिल करने के साथ ही भाजपा के राष्ट्रीय अभियानों की विशेष टीम का प्रमुख हिस्सा बने रहने वाले डाॅ. संजीव बालियान का सक्रीय राजनीतिक सफर मात्र 8 साल का रहा है। इन आठ साल में संजीव बालियान मुजफ्फरनगर जनपद के छोटे से गांव कुटबा से निकलकर राष्ट्रीय फलक पर चमक रहे हैं। संजीव बालियान का जन्म 23 जून 1972 को मुजफ्फरनगर जिले के कुटबा-कुटबी गांव में हुआ था। उन्होंने साल 1995 में डाॅ. सुनीता बालियान से शादी की और उनकी दो बेटियाँ केतकी व ताज हैं। उनके पिता सुरेंद्र पाल सिंह किसान हैं। रविंद्र सिंह बालियान उनके बड़े भाई और विवेक बालियान उनके छोटे भाई हैं। उन्होंने सीसीएस हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय से वेटरनरी एनाटॉमी में डिग्री सहित डॉक्टरेट की उपाधि भी प्राप्त की। सीसीएस हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय में अपनी शिक्षा के दौरान, वह एक छात्र नेता के रूप में बेहद सक्रिय रहे थे। यहीं से उनमें राजनीतिक गुण विकसित हुए। उन्होंने हरियाणा सरकार में सहायक प्रोफेसर और पशु चिकित्सा सर्जन के रूप में कार्य किया। उन्हें मई 2014 में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सरकार में कृषि और खाद्य प्रसंस्करण राज्य मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया था। फिर, जुलाई 2016 में, उन्हें मंत्री उमा भारती के अधीन जल संसाधन, नदी विकास और गंगा कायाकल्प राज्यमंत्री बनाया गया। सितंबर 2017 में उन्हें मंत्रालय से बाहर कर दिया गया था, इसके बाद उन्होंने यूपी भाजपा संगठन में प्रदेश उपाध्यक्ष रहते हुए काम किया। उन्होंने 2019 के चुनावों में अजित सिंह को बहुत करीबी मुकाबले में हराया। उन्हें 30 मई 2019 को पशुपालन, मत्स्य और डेयरी राज्य मंत्री के रूप में पीएम नरेन्द्र मोदी ने अपनी सरकार में फिर स्थान दिया।

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