वाराणसी-आजमगढ़ में दो लखटकिया बदमाश ढेर

वाराणसी-आजमगढ़ में दो लखटकिया बदमाश ढेर

लखनऊ। उत्तर प्रदेश को भयमुक्त राज्य बनाने के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के संकल्प पर यूपी पुलिस को ऑपरेशन क्लीन लगातार जारी है। यूपी पुलिस ने एक बार फिर से बदमाशों के सामने जौहर दिखाया और दो कुख्यात बदमाशों को एनकाउंटर में ढेर कर दिया गया। इन दोनों ही बदमाशों पर पुलिस की ओर से एक-एक लाख रुपये का ईनाम घोषित था। इन बदमाशों का पूर्वी उत्तर प्रदेश के साथ ही कई क्षेत्रों में भयंकर आतंक था। पिछले दिनों कई बड़ी वारदातों को अंजाम देने के कारण ये बदमाश समाज में आतंक फैला रहे थे, तो वहीं पुलिस ने इनको अपने राडार पर रखा हुआ था। एडीजी (कानून एवं व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने इन बदमाशों के एनकाउंटर में शामिल पुलिस टीम की प्रशंसा की है। इन बदमाशों के सफाये के साथ ही उत्तर प्रदेश मे योगीराज में एनकाउंटर में ढेर हुए बदमाशों की संख्या 128 हो चुकी है।

उत्तर प्रदेश में सत्ता प्राप्ति के बाद से ही भाजपा ने भयमुक्त राज्य का एक विश्वास जनता के बीच जगाया। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपनी सरकार के पहले ही दिन से साफ कर दिया था कि यूपी को अब जंगलराज के दाग से मुक्त कराया जायेगा। उन्होंने 'गोली मारने वाले-गोली खायेंगे' का दृढ़ संकल्प जाहिर किया तो इसको पूरा करने के लिए यूपी पुलिस भी भरपूर जौहर दिखाने लगी। मार्च 2017 के पहले एनकाउंटर से शुरू हुआ ऑपरेशन क्लीन आज भी लगातार जारी है। राज्य में एग्रीसिव पुलिसिंग के लिए कमान संभाल रहे एडीजी (कानून एवं व्यवस्था) प्रशांत कुमार के नेतृत्व में पुलिस ने बिकरू कांड के बाद बनी चुनौतियों से निपटने का काम किया और बदमाशों को बदहवास करने में पुलिस कहीं भी कमतर नजर नहीं आई है। इसी अभियान में अब वाराणसी और आजमगढ़ पुलिस के सराहनीय कार्य की चर्चा हो रही है।

एडीजी (कानून एवं व्यवस्था) प्रशांत कुमार के अनुसार, ''जनपद वाराणसी में कुख्यात अपराधियों के विरूद्ध चलाए जा रहे पुलिस के अभियान के क्रम में 26 नवम्बर 2020 की सायंकाल वाराणसी के जैतपुरा थाना क्षेत्र में डाट पुल सरैया के पास पुलिस अधीक्षक नगर विकास चन्द्र त्रिपाठी, सीओ अमरेश सिंह, निरीक्षक अश्विनी पांडेय, निरीक्षक शशि भूषण राय के नेतृत्व में हुई एक पुलिस मुठभेड़ में एक लाख रुपये का पुरस्कार घोषित कुख्यात अपराधी रोशन गुप्ता उर्फ किट्टू उर्फ बाबू पुत्र राम कुमार निवासी बड़ी पियरी थाना चैक गोली लगने के कारण घायल हो गया, जिसे इलाज हेतु कबीरचैरा हॉस्पिटल भेजा गया, जहां उपचार के दौरान उसकी मौत हो गयी।


इस मुठभेड़ में घायल अपराधी रोशन गुप्ता उर्फ किट्टू के कब्जे से एक पिस्टल .30 बोर, एक पिस्टल .32 बोर, एक पैशन मोटरसाइकिल, भारी मात्रा में कारतूस आदि बरामद हुआ। मुठभेड़ के दौरान उप निरीक्षक विनय तिवारी (थाना जैतपुरा) तथा आरक्षी जितेंद्र सिंह (क्राइम ब्रांच) को चोट आयी, जिन्हे हॉस्पिटल भेजा गया। एडीजी (कानून एवं व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने बताया कि कुख्यात अपराधी रोशन उर्फ किट्टू द्वारा 28 अगस्त 2020 को थाना जैतपुरा के चौकाघाट पर डबल मर्डर की घटना कारित की गई थी। इसके द्वारा 15 नवम्बर 2020 को चौक के सर्राफा व्यापारी सुरेश सेठ के घर में घुस कर उनको पिस्टल दिखा कर रंगदारी की मांग की गई थी, जिसका वीडियो सोशल मीडिया तथा अन्य समाचार माध्यमों में वायरल हुआ था। इसके विरुद्ध जनपद वाराणसी और गाजीपुर के विभिन्न थानों में लगभग तीन दर्जन से अधिक अभियोग पंजीकृत हैं। इस बदमाश पर एक लाख का ईनाम पूर्व से घोषित था। शासन द्वारा इस टीम को दो लाख की अतिरिक्त ईनाम की घोषणा की गई है।


इसके अलावा जनपद आजमगढ़ पुलिस ने भी एनकाउंटर में 1 लाख के इनामी बदमाश सूर्यांश दुबे पुत्र राजेश दुबे निवासी बांसगांव थाना तरवा को ढेर कर दिया। मुठभेड़ के बाद पुलिस ने उसके पास से दो पिस्टल तथा मौके से खाली व भरे कारतूस बरामद किये हैं। मुखबिर की सूचना पर पुलिस उप महानिरीक्षक आजमगढ़ परिक्षेत्र, पुलिस अधीक्षक आजमगढ़ सुधीर कुमार सिंह के नेतृत्व में चलाये ये अभियान में पुलिस की इस कुख्यात बदमाश से मुठभेड़ हुई।


पुलिस अधीक्षक आजमगढ़ सुधीर कुमार सिंह के अनुसार, ''पिछले दिनों जनपद के थाना तरवां के बांसगांव में दिनदहाड़े हुई अनसूचित जाति के ग्राम प्रधान सत्यमेव जयते की हत्या में वांछित शातिर बदमाश सूर्यांश दुबे पुत्र राजेश निवासी बांसगांव थाना तरवा पुलिस के साथ मुठभेड में मारा गया। इसमे एक उप निरीक्षक श्रीप्रकाश शुक्ल कोे भी गोली लगी। उन्होंने बताया कि सूर्यांश एक लाख का इनामी बदमाश था। शासन द्वारा अपनी तरफ से भी 02 लाख का इनाम घोषित किया गया था। आईपीएस सुधीर कुमार सिंह को अपराध मुक्त अभियान के लिए जाना जाता है। मुजफ्फरनगर जनपद में रहते हुए भी उन्होंने अपराधियों के खिलाफ बड़ा अभियान चलाया और इनामी बदमाश का सफाया हुआ। इसके साथ ही हाफ एनकाउंटर के जरिये उन्होंने अपराधियों की फैक्ट्री मुजफ्फरनगर में बदमाशों के बीच ही खौफ कायम करने का काम किया था।

बता दें कि उत्तर प्रदेश में मार्च 2017 से 26 नवम्बर 2020 को हुई वाराणसी और आजमगढ़ पुलिस की मुठभेड़ तक 128 कुख्यात बदमाशों का यूपी पुलिस सफाया कर चुकी हैं। यूपी में पुलिस एनकाउंटर के दौरान मारे गये इन बदमाशों में 5 लाख रुपये का इनामी कुख्यात बदमाश विकास दूबे, ढाई लाख रुपये का ईनामी गैंगस्टर बलराज भाटी सहित कई शातिर और कुख्यात बदमाश शामिल हैं। यूपी में बदमाशों के सफाये में मेरठ जोन पहले दिन से आज तक नम्बर वन बना हुआ है। इस जोन में एडीजी रहते हुए आईपीएस प्रशांत कुमार ने बदमाशों के खिलाफ बड़े अभियान चलाये। इसके बाद एडीजी (काननू एवं व्यवस्था) बनाये जाने पर भी उनकी एग्रीसिव पुलिसिंग का नजारा पूरे प्रदेश में दिखाई दे रहा है। बिकरू कांड के बाद उनके नेतृत्व में पुलिस ने विकास दूबे और उसके गिरोह के बदमाशों का सफाया करने में गजब का साहस और टीम वर्क दिखाया।

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