सात देशों के राजदूतों ने राष्ट्रपति को अपने परिचय पत्र किए पेश

सात देशों के राजदूतों ने राष्ट्रपति को अपने परिचय पत्र किए पेश

नई दिल्ली भारत के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने वीडियो कांफ्रेंस के जरिए राजदूतों और उच्चायुक्तों के परिचय पत्रों को स्वीकार करके भारत की डिजिटल डिप्लोमेसी पहल में एक नया आयाम जोड़ दिया है।

भारत के राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने आज वीडियो कांफ्रेंस के जरिए कोरिया गणराज्य, सेनेगल, त्रिनिदाद एवं टोबैगो, मॉरीशस, ऑस्ट्रेलिया, कोटे डी'लवायर और रवांडा के राजदूतों और उच्चायुक्तों के परिचय पत्रों को स्वीकार किया।

राष्ट्रपति भवन के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ जब परिचय पत्रों को डिजिटल माध्यम से प्रस्तुत किया गया।

राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द ने इस पर टिप्पणी करते हुए कहा कि डिजिटल प्रौद्योगिकी ने कोविड-19 की वजह से उत्पन्न चुनौतियों से निपटने और अभिनव तरीके से अपना कामकाज करने में दुनिया को सक्षम बनाया है। इस संबंध में उन्होंने डिजिटल युक्त परिचय सम्मेलन का आयोजन कराया जो नई दिल्ली में भारत का लोकतांत्रिक देशों से जुड़ाव का एक विशेष दिन था।उन्होंने यह भी कहा कि भारत अपने लोगों और व्यापक रूप से पूरी दुनिया की उन्नति के लिए डिजीटल माध्यम की असीमित संभावनाओं को काम में लाने के लिए प्रतिबद्ध है।

राष्ट्रपति कोविंद ने राजदूतों को संबोधित करते हुए कहा कि कोविड-19 महामारी ने विश्व समुदाय के सामने अप्रत्याशित चुनौती पेश की है और इस संकट ने अब बड़े स्तर पर सहयोग की आवश्यकता बताई है। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि भारत इस महामारी के खिलाफ जंग में मित्र देशों की ओर सहयोग के हाथ बढ़ाने में हमेशा आगे रहा है।

जिन राजदूतों और उच्चायुक्तों ने अपना परिचय पत्र प्रस्तुत किया वह हैं :-

(१) चोए हुई चोल, कोरिया गणराज्य के राजदूत

(२) अब्दुल वहाब हाइदरा, सेनेगल गणराज्य के राजदूत

(३) डॉक्टर रोजर गोपाल, त्रिनिदाद एवं टोबैगो गणराज्य के उच्चायुक्त

(४) शांति बाई हनुमानजी, मॉरीशस गणराज्य की उच्चायुक्त

(५) बैरी राबर्ट ओ'फरैल, ऑस्ट्रेलिया के उच्चायुक्त

(६) एम. एन'डीआरवाई एरिक कैमिले, कोटे डी'लवायर गणराज्य के राजदूत

(७) जैकलिन मुकान्गिरा, रवांडा गणराज्य की उच्चायुक्त


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