भ्रष्ट पुलिस वालों पर योगी की नजर टेड़ी
योगी सरकार ने भ्रष्टाचार के खिलाफ बडा मोर्चा खोलते हुए भ्रष्ट और नकारा अफसरों व कर्मचारियों के खिलाफ सीएम योगी आदित्यनाथ ने कड़ा रुख अपना लिया है। इसके तहत 50 वर्ष की आयु पार कर चुके अक्षम पुलिसकर्मियों को जबरन रिटायर किया जाएगा। एडीजी स्थापना पीयूष आनन्द ने सभी एडीजी, आईजी सहित जनपद स्तरीय पुलिस अधिकारियों को पत्र लिखकर ऐसे पुलिसवालों को चिन्हित करके उनकी सूची 30 जून तक भेजने को कहा है। पुराने शासनादेशों का हवाला देकर एडीजी स्थापना ने सभी अधिकारियों से स्क्रीनिंग कमेटी की रिपोर्ट मांगी है।
लखनऊ। सूबे की योगी सरकार ने भ्रष्टाचार के खिलाफ बडा मोर्चा खोलते हुए भ्रष्ट और नकारा अफसरों व कर्मचारियों के खिलाफ सीएम योगी आदित्यनाथ ने कड़ा रुख अपना लिया है। इसके तहत 50 वर्ष की आयु पार कर चुके अक्षम पुलिसकर्मियों को जबरन रिटायर किया जाएगा।
एडीजी स्थापना पीयूष आनन्द ने सभी एडीजी, आईजी सहित जनपद स्तरीय पुलिस अधिकारियों को पत्र लिखकर ऐसे पुलिसवालों को चिन्हित करके उनकी सूची 30 जून तक भेजने को कहा है। पुराने शासनादेशों का हवाला देकर एडीजी स्थापना ने सभी अधिकारियों से स्क्रीनिंग कमेटी की रिपोर्ट मांगी है।
ज्ञात हो कि इससे पूर्व भी गृह विभाग की समीक्षा के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भ्रष्ट और नकारा अफसरों को जबरन सेवानिवृत्ति देने के निर्देश दिए थे। सीएम योगी ने कहा था कि उन अधिकारियों और कर्मचारियों की जरूरत नहीं है, जो कानून व्यवस्था के प्रति ईमानदारी नहीं बरतते। अब एडीजी पीयूष आनन्द के इस पत्र के बाद पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि अपराधियों से सांठगांठ रखने वाले पुलिसकर्मियों की पहचान की जाये, क्योंकि वर्दी के नाम पर कलंक बन चुके लोगों की विभाग में कोई जगह नहीं है। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा है कि आप के आस-पास सारे संसाधन मौजूद हैं, पूरी छूट है और दावे के अनुसार आप सड़क पर ही रहते हैं, तब भी अपराध की घटनाएं क्यों हो रही हैं? उन्होंने अफसरों से पूछा कि अपराध होने के बाद भी आपकी कार्रवाई क्यों नहीं दिखती है? किसी घटना का जब मीडिया ट्रायल शुरू हो जाता है, उसके बाद ही आपकी कार्रवाई क्यों दिखती है?
आजमगढ़ मंडल की समीक्षा बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन पुलिसकर्मियों की अपराधियों से सांठगांठ है, अभियान चलाकर उनको चिह्नित करें। वर्दी के नाम पर कलंक बन चुके लोगों की विभाग में कोई जगह नहीं है। उन्होंने पुलिस विभाग के आला अफसरों से कहा कि चैकीदार सूचनाएं देकर अपराध को नियंत्रित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। हर पखवाड़े इनके साथ बैठक करें, प्रधानों और अन्य जनप्रतिनिधियों से भी लगातार संवाद बनाए रखें। सीएम योगी ने कहा कि संवाद लोकतंत्र में समस्याओं के हल का सबसे प्रभावी जरिया है। उन्होंने कहा कि लूट होने पर संबंधित थाने के बीट सिपाही से लेकर अन्य पुलिसकर्मियों की जवाबदेही तय की जाये। मुख्यमंत्री ने जेलों को अपराधियों के आराम और अपराध संचालन का अड्डा बनने पर नाराजगी जताते हुए निर्देश दिया कि ऐसे लोगों को चिह्नित कर उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करें।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आंकड़े नहीं जनता के भरोसे को कानून-व्यवस्था का पैमाना बनाएं। इस भरोसे से ही जनता में सकारात्मक संदेश जाता है। महिलाओं और मासूम बच्चियों से दुष्कर्म की घटनाओं को कड़ाई से रोकने का निर्देश देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि रेंज स्तर पर ऐसे 10 अपराधियों की सूची बनाकर उनके खिलाफ प्रभावी कार्रवाई करें। उन्होंने निर्देश दिये कि ऐसे मामलों को फास्ट ट्रैक कोर्ट में ले जाएं और मजबूती से पैरवी करके दो महीने में अपराधियों को अधिकतम कड़ी सजा दिलवाएं। यदि हम ऐसा कर पाये तो अपराधी मानसिकता के अन्य लोेग भी भयभीत होंगे और समाज भयमुक्त हो सकेगा।